उत्तर प्रदेश में करीब 8 महिनो से बंद चल रहे सभी विश्वविद्यालय और महाविद्यालय 23 नवंबर से खोले जा सकते है। राज्य सरकार ने मंगलवार को विश्वविद्यालय और कॉलेज खोले जाने को लेकर गाइलाइन जारी कर दिया है ।
विश्वविद्यालय और महाविद्यालयो को खोलने के संबंध में अपर मुख्य सचिव ने प्रदेश के सभी जिलों के जिलाधिकारियों और विश्वविद्यालयों के कुलसचिव को पत्र लिखकर आदेश जारी कर दिए हैं।
जारी किए गए गाइडलाइन यानि दिशा-निर्देश के अनुसार प्रतेक कक्षाओं में अधिकतम 50 प्रतिशत विद्यार्थी ही उपस्थित रहेंगे।
कॉलेज स्टॉफ को कोरोना प्रोटोकॉल का पालन करने का आदेश दिया गया है, निर्देश में छात्रों से अपील करते हुए कहा है कि सभी छात्रों को फेस कवर/मास्क पहनना चाहिए और सभी निवारक उपाय करना चाहिए।
किन बातो का रखना होगा ध्यान
- मोबाइल में आरोग्य सेतु एप लोड करना चाहिए।
- छात्रों को शारीरिक एवं मानसिक रूप से स्वस्थ्य रहना चाहिए।
- छात्रों को ऐसी गतिविधियां विकसित करनी चाहिए जो प्रतिरक्षा बढ़ाने में उपयोगी हों। इनमें व्यायाम, योग, ताजे फल खाना, स्वस्थ्य भोजन और समय से सोना शामिल है।
- सभी छात्रों को कोविड- 19 महामारी के मद्देनजर स्वास्थ्य एवं सुरक्षा उपायों के संबंध में विश्वविद्यालयों एवं महाविद्यालयों द्वारा जारी दिशा-निर्देशों का पालन करना चाहिए।
विश्वविद्यालय खोले जाने के सम्बध मे महत्वपुर्ण बाते
- संस्थाओं को विभिन्न कार्यक्रमों में सभी विभागों एवं छात्रों के वैचों के लिये पूरी तरह रोस्टर के साथ चरणबद्ध तरीके से परिसर खोलने का विवरण तैयार किया जाय।
- शिक्षकों, अधिकारियों, कर्मचारियों तथा छात्रों को आई0कार्ड० पहनना अनिवार्य किया जाय।
- संकाय, छात्र, कर्मचारी को एक दूसरे से बचने के लिये नियमित रूप से जांच की जानी चाहिए।
- कक्षाओं को चरणबद्ध तरीके से चालू किए जाने के सम्बन्ध में सप्ताह में 06 दिवसीय शिड्यूल का पालन किया जा सकता है तथा बैठने की व्यवस्था को शारीरिक दूरी की आवश्यकताओं को ध्यान में रखते हुए बनाया जाय।
- विश्वविद्यालय एवं महाविद्यालयों में कक्षाओं के आकार को कम करने और कक्षाओं के दौरान शारीरिक दूरी को बनाए रखने के लिये कक्षाओं को कई भागों में विभाजित किए जाने पर विचार किया जा सकता है।
- कक्षाओं की उपलब्धता के आधार पर कक्षाओं में भाग लेने के लिये 50 प्रतिशत छात्रों को रोटेशन के आधार पर अनुमति दी जा सकती है।
- ऑनलाइन शिक्षण के लिये शिक्षकों को प्रशिक्षित किया जाना चाहिए। परिसर में आगन्तुकों को बिल्कुल भी अनुमति नहीं दिया जाना चाहिए या उनके प्रवेश को प्रतिवन्ध किया जाना चाहिए।
- परिसर में भीडभाड़ से बचने के दृष्टि से शैक्षिक कैलेण्डर योजना बनायी जाय जितना सम्भव हों एकेडमिक कैलेण्डर में नियमित कक्षाओं और ऑनलाइन शिक्षण के मिश्रण को बढ़ावा देना चाहिए।
- शिक्षण और प्रशिक्षण कार्य के लिये दिनवार एवं समयवार का निर्धारण संस्था द्वारा किया जा सकता है।
- प्रयोगशाला में अधिकतम क्षमता को कम करते हुए पुनः निर्धारण किया जाय
- वृद्ध कर्मचारी, गर्भवती महिला तथा गम्भीर रूप से रोगी कर्मचारियों को छात्रों के साथ सीधे सम्पर्क वाले कार्यों से दूर रखना चाहिए।
Download Guideline – Colleges And Universities Will Be Open From 23 November